रायपुर (चैनल इंडिया)। प्रदेश में अब जल्दी ही एक बड़ा बदलाव सामने आ सकता है, राज्य के आवासीय क्षेत्रों में जहां लोग मकान बनाकर रहते हैं वहां और कारोबार वाले क्षेत्र में किसी तरह के छोटे-बड़े कारखाने नहीं चल पाएंगे।
सरकार के आवास एवं पर्यावरण विभाग ने यह बदलाव करने के लिए छत्तीसगढ़ भूमि विकास नियम, 1984 में महत्वपूर्ण संशोधन प्रस्तावित किया है। इस पर 15 दिनों में दावा-आपत्ति बुलाई गई है। इसका निराकरण होने के बाद आवासीय और वाणिज्यिक क्षेत्रों में प्रदूषणकारी उद्योगों पर पूर्ण प्रतिबंध के प्रावधान लागू हो जाएंगे।
आवास एवं पर्यावरण विभाग के उच्च पदस्थ सूत्रों ने हरिभूमि को बताया कि भारत सरकार का एक रीफार्म (सुधार) है जिसे राज्य में लागू करने की तैयारी है। अब नियमों में यह बदलाव किया जा रहा है। आवासीय उपयोग परिक्षेत्र में, रेड, ऑरेंज, ग्रीन एवं ब्लू श्रेणी में वर्गीकृत उद्योगों को अनुमति नहीं दी जाएगी। वाणिज्यिक उपयोग परिक्षेत्र में, रेड एवं ऑरेंज श्रेणी में वर्गीकृत उद्योगों को अनुमति
नहीं दी जाएगी। उद्योगों का रेड, ऑरेंज, ग्रीन, व्हाईट और ब्लू श्रेणियों में वर्गीकरण, छत्तीसगढ़ पर्यावरण संरक्षण मंडल द्वारा समय-समय पर अधिसूचित किए गए अनुसार होगा।
ये हैं प्रदूषण के स्तर की श्रेणी वाले उद्योग
सीमेंट प्लांट, थर्मल पावर प्लांट, रासायनिक उद्योग, स्टील मेल्टिंग, पेट्रोकेमिकल्स, ऑरेंज- मध्यम श्रेणी फूड प्रोसेसिंग, टेक्सटाइल डाइंग, ऑटो वर्कशॉप, पेपर मिल्स, बेकरी, ग्रीन कम प्रदूषण वाले असेंबली लाइन, प्रिंटिंग प्रेस, सॉफ्टवेयर डेवलपमेंट, छोटे रिटेल आउटलेट, व्हाइट नगण्य प्रदूषण क्षेत्र- बिस्किट ट्रे मैन्युफैक्चरिंग, कैंडल मेकिंग, साबुन पैकिंग, आटा चक्की, ब्लू सेवा के उद्योग कचरा रिसाइक्लिंग प्लांट, सीवेज ट्रीटमेंट, बायोगैस प्लांट (घरेलू कचरे पर)।
होगा ये बदलाव
भारत सरकार के ये रिफार्म अगर छत्तीसगढ़ में सही तरीके से लागू हो पाए तो ये बदलाव हो सकता है। घरों वाली कॉलोनियों में अब कोई भी तरह की फैक्ट्री नहीं लगेगी, चाहे वो छोटी हो या बड़ी, चाहे वो कम प्रदूषण वाली हो या ज्यादा। मतलब लोहे की भट्टी, प्लास्टिक फैक्ट्री, केमिकल यूनिट, यहाँ तक कि छोटी-छोटी वर्कशॉप भी पूरी तरह बंद। दुकान-बाजार वाले इलाकों में बहुत ज्यादा प्रदूषण करने वाली (रेड और ऑरेंज कैटेगरी) फैक्ट्रियां नहीं चलेंगी। सिर्फ बहुत कम प्रदूषण करने वाली फैक्ट्रियां ही चल सकेंगी।